भाजपा में मुख्यमंत्री का अभी कोई चेहरा नहीं, पार्टी तय करेगी – पूनिया

अमरसिंह राव

माउंट आबू. भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया ने दावा किया है कि भाजपा में कोई फूट नहीं है। मुख्यमंत्री के चेहरे को लेकर भी कोई गुटबाजी नहीं है। भाजपा आलाकमान जो तय करेगा, सर्वमान्य होगा। ‘पत्रिका’ को दिए साक्षात्कार में पूनिया ने साफ किया कि हम सबका एक ही लक्ष्य है कि कांग्रेस सत्ता से बाहर हो और भाजपा बहुमत के साथ सत्तासीन हो जाए।

पत्रिका: भाजपा का वर्ष-2023 का टारगेट क्या है?

पूनिया- अव्वल तो भारतीय जनता पार्टी ‘मिशन-2023 के लिए प्रतिबद्ध है। हम वर्ष-2024 की योजना पर भी साथ ही काम कर रहे हैं। जनधारणा कांग्रेस के खिलाफ और भाजपा के पक्ष में हैं। प्रबल जनाक्रोश या एन्टी इनकम्बेन्सी राज्य की कांग्रेस सरकार के खिलाफ है । तुलनात्मक दृष्टि से जनता केन्द्र की भाजपा सरकार के पक्ष में है। राज्य की कानून-व्यवस्था भी कांग्रेस के खिलाफ है। हम लोग चाहते हैं कि हम अपनी खूबियों के कारण सत्ता में आएं। पार्टी दो सौ विधानसभा क्षेत्रों में अपनी खूबियों के साथ कमजोरियों को भी चिह्नित करेगी।

पत्रिका: पार्टी ने सीएम के चेहरे को लेकर अभी तक स्पष्ट तस्वीर सामने नहीं रखी है तो इस बार कौन होगा मुख्यमंत्री का चेहरा?

पूनिया: मेरे ख्याल से अब तक दिल्ली से जयपुर आए पार्टी के प्रदेश प्रभारी और अन्य सभी शीर्ष नेता स्पष्ट बता चुके हैं कि मोदीजी का नाम और काम राजस्थान के चुनाव में भाजपा की बड़ी ताकत है। रही चेहरे की बात तो कोई सेट फिनोमेना नहीं है। सर्वाधिकार पार्टी आला कमान है। वह जब चाहेगा, जिसको चाहेगा, चाहेगा या नहीं चाहेगा, वह उन्हीं को तय करना है।

पत्रिका: चर्चा है कि भाजपा में भी गुटबाजी है ?

पूनिया: कांग्रेस की गुटबाजी तो प्रमाणित है। सरकार के गठन के साथ ही मुख्यमंत्री के निवास में मुख्यमंत्री के खिलाफ ही नारे लगे। फिर सचिन पायलट के साथ एक बड़ा गु्रप कई दिनों तक अलग रहा। सरकार भी बाड़ेबंदी में रही। अभी भी गाहे-बगाहे गुटबाजी की चर्चा होती रहती है। कुल मिलाकर कांग्रेस के भीतर जो फूटै, अंतर कलह और अंतरविरोध बिल्कुल सामने है। इसमें कांग्रेस के आलाकमान, कांग्रेस की स्थानीय सरकार व संगठन की कमजोरी है। बेशक पॉलिटिकल गॉसिप हो सकती है, पर भाजपा में मुख्यमंत्री को लेकर किसी तरह के गुट या किसी तरह के समूह की किसी तरह की कोई चर्चा नहीं है।

पत्रिका- अभी अमित शाह जयपुर आए थे, वे कोई मंत्र दे गए हैं, क्या?

पूनिया: वो लोग कुशल प्रबंधक , रणनीतिकार और राजनेता है। उनकी दिनचर्या से लेकर काम करने का तरीका हमारे लिए प्रेरणा है। पीएम नरेन्द्र मोदी जितना परिश्रम करते हैं, वह कार्यकर्ताओं के लिए प्रेरणा है। अमित शाह अपने विचार के प्रति जितनी दृढ़ता रखते हैं, वह हमारी प्रेरणा है। इसलिए किसी मंत्र या गुरुमंत्र की आवश्यकता नहीं है। वे कल जो अनौपचारिक रूप से पार्टी के दफ्तर में आए उससे समझिए कि वे संगठन को सर्वोपरि मानते हुए संगठन को बेहद सम्मान देते हैं।



Source: Sirohi News